Monday, 12 September 2016

●मौका मत छोड़ो...

आखिर क्यों बाँटते हैं लोग, दूसरों को ज्ञान...!!!

(Why share people, knowledge to others)


एक बार की बात है, एक बड़ा भाई अपने छोटे भाई की शिकायत लेकर principle के पास पहुंचा और बोला कि sir मेरा ये भाई पढ़ता लिखता भी है या फिर ऐसे ही timepass के लिए school आता है; घर पर तो सारे दिन खेलता कूदता रहता है कुछ भी पढ़ाई नहीं करता है अच्छे से खिचाई करना इसकी।
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(दरअसल बड़ा भाई भी पहले priciple का ही student रहा था लेकिन वो  intelligent नहीं था)
so that
Principle को उसकी ये बात नागवार लगी और बोले :- खुद तो कुछ पढ़ते लिखते नहीं थे और अपने भाई से पढ़ने की उम्मीद रखते हो..??
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principle की इस बात पर बड़ा भाई शर्मिंदा नहीं हुआ बल्कि उसने एक बहुत ही खूबसूरत जवाब दिया।
बड़ा भाई बोला :- sir; जब मैं आपके पास पढ़ने आता था उस समय मेरे घर में कोई बिल्कुल भी पढ़ा लिखा नहीं था, जिस वजह से मुझे Guide करने वाला भी कोई नहीं था; परिणामतः मैं ठीक से पढ़ नहीं पाया।
लेकिन अभी इतना पढ़ा लिखा हूँ कि अपने छोटे भाई को अपने से ऊँचे ओहदे पर ले जाकर खड़ा कर सकूँ...!!!
मैं नहीं चाहता कि जिन कारणों से मैं पढ़ लिख नहीं पाया वही कारण मेरे भाई पर apply हों।
so that मैं अपने भाई की शिकायत लेकर आपके पास आया...।।।
मैंने कुछ गलत तो नहीं किया सर....!!!
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भाई की इस बात का principle के पास कोई जवाब नहीं था।
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ठीक ऐसा ही हमारे साथ भी होता है;

जब हमें कोई ज्ञान देता है तो वो हमें थोड़ा कड़वा लगता है और हम मन में सोचते हैं कि ये खुद तो follow नहीं करते होंगे;

और हमें भी फालतू के प्रवचन सुना सुना कर पका(bore) रहे हैं।

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हो सकता है कि उन प्रवचन को वो खुद follow नहीं कर पा रहे हों क्योंकि उनमें वो प्रवचन follow करने की शक्ति (power) नहीं है
लेकिन वो उस ज्ञान को तुम्हें बाँट इसलिए रहे हैं क्योंकि उन्हें लगता है कि तुममें उस ज्ञान को follow करने की power है।
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अगर आपको उनके द्वारा कही बात में power लगती है और लगता है कि तुम उसे follow कर सकते हो तो करो...!!!
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जिस तरह बड़ा भाई intelligent नहीं था लेकिन वह अपने छोटे भाई को intelligent देखना चाहता था ।
ठीक उसी तरह जो लोग; हमें ज्ञान बाँटते हैं वो लोग उस ज्ञान को follow नहीं पर पाते लेकिन वही लोग किसी सुविचार को share करके हमें follow करने का मौका देते हैं कि शायद हम लोग उस सुविचार को follow कर सकें।
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इसीलिए लोग दूसरों को ज्ञान बांटते हैं कि जिस सुविचार को वो अपनी life में apply नहीं कर पाए; शायद उसे आप कर सको।
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so friends, जो कोई भी हमें ज्ञान बांटता है तो हमें उसके ज्ञान को ignore ना करके accept करना चाहिए और अपनी life में जितना हो सके apply करने की कोशिश करना चाहिए और मैं तो ये कहता हूँ कि कोई भी मौका हो उसे मत छोड़ो...!!!
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क्योंकि वो खुद अच्छे नहीं बन सके लेकिन आपमें वो अच्छा बदलाव चाहते हैं तो भला आपको अच्छा बनने में क्या बुराई है...???
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अगर आप इस blog पर अपनी कुछ राय (suggestion) देना चाहते हैं तो post कीजिये एक comment; हम आपके suggestion को अपने blog में शामिल (include) करना चाहेंगे।

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जय हिन्द।
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इन्हें भी पढ़ें :-
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